बेटी को दहेज में देने के लिए रखा सामान—नगदी समेत लाखों रूपए का माल चोरी
भोपाल। मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh Crime) की राजधानी भोपाल (Bhopal Crime) शहर में चोरों (Bhopal Theft) के हौसले बुलंद हैं। अयोध्या नगर के बाद अब कोहेफिजा इलाके में चोरों ने बड़ी वारदात को अंजाम दिया। चोरों ने यहां स्टील कारोबारी के मकान को अपना निशाना बनाया। कारोबारी की बेटी की अगले महीने शादी है। जिसके लिए उन्होंने दहेज और नकदी घर में रखी थी। कोहेफिजा (Kohefiza Police Station) थाना पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है। मकान से चोर चप्पे—चप्पे की तलाशी लेने के बाद ढाई लाख रुपए नकद, 12 तौला वजनी से अधिक सोने के जेवरात (Gold Ornament) समेत लाखों रुपए का माल बटोर ले गए।
पुलिस के अनुसार घटना कोहेफिजा थाना क्षेत्र के गुफा मंदिर के नजदीक क्रॉइस मेमोरियल स्कूल (Christ Memorial School) है। यहां दिनेश लोहाटी (Dinesh Lohati) उम्र 52 साल के सूने मकान में चोरों ने धावा बोला। www.thecrimeinfo.com से बातचीत करते हुए दिनेश लोहाटी ने बताया कि वे स्टील कारोबारी है। वे भोपाल के बैरागढ़ (Bairagrh) इलाके से कारोबार करते है। वह दो दिन पहले उसके रिश्तेदार के घर इंदौर गए थे। पड़ोसियों को उसके सूने पड़े मकान की लाईट जलती हुई दिखी। जिसकी सूचना पड़ोसियों ने फोन करके उन्हें दी थी। दिनेश का पूरा परिवार भोपाल वापस आया। घर आकर देखा तो सामान बिखरा पड़ा था। नकदी 2.5 लाख रुपए, सोने के 12 तौला वजनी जेवर, कपड़े, किराना समेत अन्य लाखों रुपए का माल ले गए। पुलिस ने चोरी गई संपत्ति की कीमत करीब चार लाख रुपए बताई है। जबकि लोहाटी का कहना है कि यह आंकड़ा गलत है। अभी कुछ अन्य सामान भी घर पर थे जो उन्हें नहीं मिल रहे हैं। यह कॉलोनी बेहद पॉश है जहां सुरक्षा के लिए कैमरे भी लगे हैं।
खुलासे की बजाय परेशानी
लोहाटी का परिवार मंगलवार—बुधवार की दरमियानी रात 12:30 बजे पहुंचा था। उन्होंने बताया कि बेटी को दहेज देने के लिए करीब 12 से 13 तोला सोना 2.50 लाख रूपए कैश के अलावा बेटी का लहंगे से लेकर राशन तक का सारा सामान चोरी चला गया हैं। जिसके बाद उन्होंने पुलिस को घटना की जानकारी दी थी। पुलिस ने घटनास्थल का मुआयना करने के दौरान फिंगर प्रिंट भी लिए। इससे पहले परिवार को भीतर जाकर कुछ छूने की बजाय पुलिस की फिंगर प्रिंट वाले अफसरों का इंतजार करने के लिए बोला गया। तब तक पूरा परिवार सर्द रात में बाहर और आस—पास लोगों के घरों में बैठकर पुलिस का इंतजार करता रहा।