Jail Brake Attempt : सिमी आतंकियों जैसा कांड होते—होते बचा, आठ बंदियों के खिलाफ मामला दर्ज

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Jhalawar Jail Break
सांकेतिक तस्वीर

भागने से पहले योजना का भंड़ाफोड़, फरार होने की तैयारी कर रहे बदमाशों को किया जाएगा दूसरे जेलों में शिफ्ट

अशोक नगर। प्रदेश की राजधानी भोपाल में तीन साल पहले हुए जेल ब्रेक (Jail Brake Attempt) जैसी घटना होते—होते बच गई। मामला प्रदेश के अशोक नगर जिले का है। इस मामले में जेल प्रशासन ने आठ बंदियों के खिलाफ मामला भी दर्ज कराया है। इधर, जेल प्रशासन योजना में शामिल बंदियों को अलग—अलग जेल में शिफ्ट करने की तैयारी में हैं।
जानकारी के अनुसार जिन बंदियों ने यह (Jail Brake Attempt) योजना बनाई थी वह हत्या, हत्या के प्रयास, बलात्कार जैसे संगीन मामलों में सजा काट रहे हैं। जेल प्रशासन ने इस मामले की देहात थाने में एफआईआर दर्ज करा दी है। शिकायत, जेल प्रहरी जोगेंद्र राजावत की तरफ से थाने में दर्ज कराई गई है। एफआईआर दर्ज होने के बाद थाना पुलिस के अफसरों ने जेल का दौरा भी किया। इसके अलावा जेल प्रशासन ने पूरे घटनाक्रम का ब्योरा बनाकर जेल मुख्यालय (MP Jail Prisoner Head Quarter) में डीजी संजय चौधरी को भेज दिया है। मामले का खुलासा होने के बाद डीजी जेल संजय चौधरी का दौरा कार्यक्रम भी तय हो गया है। फरार होने की योजना बनाने वाले बंदी अलग—अलग बैरकों में रहते हैं। इन्होंने प्रहरियों को बंदी बनाने की तैयारी की थी। इसके लिए जेल के भीतर सामान जुटा लिया था।

यह थी योजना
Jail Brake Attemptपुलिस के अनुसार जिन लोगों के खिलाफ एफआईआर जेल प्रबंधन ने कराई है उसमें (Jail Brake Attempt) बंदी खूबसिंह, संतोष कुशवाह, गोपाल परिहार, रंजीत केवट, शुभम उर्फ पीसू उर्फ आकाश जाटव, बंटी उर्फ हरवंश आदिवासी, दीपक ढ़ीमर और मनोहर धानक है। इस मामले में इन बंदियों के साथ बैरकों में रहने वाले बंदियों के बयान दर्ज किए जा रहे हैं। जेल से फरार होने की योजना बनाने वाले बंदी संतरी एवं हथियार बंद प्रहरी को काबू में कर जेल से भागने की फिराक में थे। इसके लिए झगड़े का नाटक किया जाना था। प्रहरियों को काबू में करने के लिए मिर्च पाउडर जमा कर लिया गया था।
जेल मुख्यालय (MP Jail Prisoner Head Quarter) को इस पूरे मामले की रिपोर्ट मिल गई है। जेल मुख्यालय ने भी सुझाव देते हुए बदलाव के बिंदु तय करने का काम शुरू कर दिया है। अशोक नगर जेलर एसएस सिद्दीकी के मुताबिक 7 बंदियों में हत्‍या एवं हत्‍या के प्रयास के आरोपी हैं, जबकि एक बंदी पर बलात्‍कार का मामला दर्ज है। इनमें चार कैदी हत्या व लूट के आरोपी है। जिन्होंने 18 दिसंबर की रात को नईसराय थाना क्षेत्र के बीसोर गांव में रिटायर्ड एसएएफ जवान निहालसिंह रघुवंशी और उनकी पत्नी गीता की गोली मारकर हत्या कर दी थी। बदमाश घर से सोने-चांदी के जेबर व कार लूट ले गए थे।

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