जानिए मतदान पर वरिष्ठ पत्रकारों का नजरिया
भोपाल। मध्यप्रदेश की 28 सीटों पर हुए उपचुनाव (MP By Election) में बंपर वोटिंग (Bumper Voting) हुई है। पांच सीटों पर 80 फीसदी से ज्यादा मतदान हुआ है। कोरोना काल में भी मतदाताओं ने बढ़-चढ़कर चुनाव में हिस्सा लिया है। मुरैना और ग्वालियर जिले की कुछ सीटों को छोड़कर बाकि सीटों पर अच्छी वोटिंग हुई है। अब यहीं सवाल गूंज रहा है कि ज्यादा मतदान किस और इशारा कर रहा है। क्या है जनता का मूड ? जो कोरोना के खतरे को दरकिनार कर चुनावी मैदान उतर आई थी।
इन सीटों पर बंपर मतदान
ब्यावरा, हाट पिपल्या, आगर, बदनावर और सुवासरा में 80 फीसदी से ज्यादा मतदान हुआ है। इन पांच सीटों में से दो सीटों पर विधायकों के निधन की वजह से चुनाव हुए है। लेकिन हाट पिपल्या, बदनावर और सुवासरा में कांग्रेस विधायकों के इस्तीफे की वजह से चुनाव हुए है। वहीं प्रदेश की सबसे हॉट सीट कही जाने वाली सांवेर और सुरखी पर भी सभी की नजरें टिकी हुई है। यहां कांग्रेस छोड़ भाजपा में गए पूर्व मंत्री तुलसी सिलावट और गोविंद सिंह राजपूत मैदान में है। इन्हें भाजपा छोड़ कांग्रेस में शामिल हुए प्रेमचंद गुड्डू और पारुल साहू ने चुनौती दी है।
सत्ता के खिलाफ होती है बंपर वोटिंग
मध्यप्रदेश के वरिष्ठ पत्रकार दिनेश निगम ‘त्यागी’ का कहना है कि आमतौर पर बंपर वोटिंग सत्ता पक्ष के खिलाफ होती है। सरकार से नाराजगी के चलते जनता वोट देने निकलती है। ये भी हो सकता है कि किसी मुद्दे से प्रभावित होकर जनता ने जमकर वोट किया हो। कांग्रेस उत्साहित हो सकती है कि उसका बिकाऊ नहीं टिकाऊ चाहिए और गद्दार वर्सेज वफादार का मुद्दा का काम कर गया। वहीं भाजपा की नजर में इसे ‘आइटम’ वाले मुद्दे की जीत के तौर पर भी देखा जा सकता है।
भाजपा कार्यकर्ता ही वोट निकालता है
प्रदेश के वरिष्ठ पत्रकार राघवेंद्र सिंह की नजर में बंपर वोटिंग का परिणाम भाजपा के पक्ष में जाता नजर आता है। ऱाघवेंद्र जी ने बताया कि भाजपा के पास बड़ा संगठन है। आरएसएस कार्यकर्ता पूरी निष्ठा के साथ काम करते है। यहीं संगठन भाजपा की ताकत है, जो घर-घर से वोट निकालता है। वहीं कुछ जगहों पर हुई गोलीबारी की घटनाओं पर उन्होंने कहा कि ये तो चंबल की तासीर है।
बंपर वोटिंग की तरफ इशारा नहीं
वरिष्ठ पत्रकार शिव अनुराग पटैरिया का कहना है कि ‘मुझे फिलहाल बंपर वोटिंग की तरफ इशारे नहीं दिख रहे। प्रदेश में 2018 में हुए आम चुनाव के दौरान 75 फीसदी से अधिक मतदान हुआ था। पिछले चुनाव के मुकाबले आम चुनाव के मतदान के प्रतिशत बहुत चौका देने वाले नहीं हैं। यह आंकड़ा यदि साढ़े तीन फीसदी या पांच फीसदी अधिक होता है तो जरुर सत्तारुढ़ दल के लिए खतरे का संकेत माना जा सकता है। इससे स्थानीय नेताओं या चुनाव लड़ रहे उम्मीदवारों के लिए खतरे का संकेत माना जा सकता है।’
गुस्से की वोटिंग
वरिष्ठ पत्रकार अरुण तिवारी, बंपर वोटिंग को गुस्से की वोटिंग के तौर पर देखते है। उनका कहना है कि ज्यादा मतदान हमेशा सरकार के खिलाफ होता है। जनता सरकार से ही नाराज हो सकती है, लिहाजा वो वोट के तौर पर अपना गुस्सा निकालती है। कांग्रेस ये सोचकर उत्साहित हो सकती है कि गद्दार वाला फैक्टर काम कर गया। वहीं भाजपा इसे संगठन की कामयाबी के तौर पर भी देख सकती है। मतदान के कयास चाहे जो भी लगाए जाएं, लेकिन परिणाम चौंकाने वाले आएंगे।
कांग्रेस की आशंका
केके मिश्रा का ट्वीट- अब तक जो स्थिति सामने आई हैं उसके अनुसार बम्पर मतदान हो रहा है,कुछेक जगह प्रायोजित हिंसा को छोड़कर,आशंका है जिला निर्वाचन अधिकारी मतदान का प्रतिशत कम बता सकते हैं?चुनाव आयोग आज कितने प्रतिशत मतदान हुआ है,निर्धारित वक्त पर ही जानकारी दे,ताकि शंका-कुशंका न हो।
भाजपा खुश
भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष व सांसद विष्णुदत्त शर्मा ने भारी संख्या में मतदान के लिए प्रदेश के 28 विधानसभा क्षेत्रों के मतदाताओं के प्रति आभार जताया है। प्रदेश अध्यक्ष श्री विष्णुदत्त शर्मा ने कहा है कि कोरोना संकट के बावजूद 28 विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव के लिए हुए मतदान में मतदाताओं ने जो उत्साह दिखाया है, वह अभूतपूर्व है। प्रत्येक आयु वर्ग के मतदाताओं ने बढ़-चढ़कर मतदान में भाग लिया और एक घंटे का अतिरिक्त समय समाप्त होने के बावजूद मतदान केंद्रों पर लोग मतदान के लिए कतारों में दिखाई दिये। श्री शर्मा ने कहा कि मतदान के प्रति मतदाताओं का यह उत्साह लोकतंत्र के प्रति उनकी आस्था को दिखाता है। श्री शर्मा ने कहा कि प्रदेश भाजपा लोकतंत्र के इस महायज्ञ में सक्रिय भागीदारी के लिए मतदाताओं का अभिनंदन करती है और उनकी आभारी है।
कमलनाथ का बयान
प्रदेश के 28 उपचुनावो के क्षेत्रों के मतदाताओं का आभार। कोरोना काल के बावजूद भी उन्होंने अभूतपूर्व उत्साह दिखाते हुए बढ़-चढ़कर मतदान में हिस्सा लिया, अपने कर्तव्य का पालन किया, तमाम अनैतिक हथकंडो को करारा जवाब दिया। यह चुनाव जनता का चुनाव था, जनता ने खुद इसे लड़ा। 10 नवंबर को जनता की सरकार बनना तय है। लोकतंत्र व संविधान के हत्यारों को जवाब मिलना तय है।
खबर के लिए ऐसे जुड़े
हमारी कोशिश है कि शोध परक खबरों की संख्या बढ़ाई जाए। इसके लिए कई विषयों पर कार्य जारी है। हम आपसे अपील करते हैं कि हमारी मुहिम को आवाज देने के लिए आपका साथ जरुरी है। हमारे www.thecrimeinfo.com के फेसबुक पेज और यू ट्यूब चैनल को सब्सक्राइब करें। आप हमारे व्हाट्स एप्प न्यूज सेक्शन से जुड़ना चाहते हैं या फिर कोई घटना या समाचार की जानकारी देना चाहते हैं तो मोबाइल नंबर 9425005378 पर संपर्क कर सकते हैं।