DIAL- 100 : रिलायंस की लाइन बिगड़ी तो पुलिस की मुश्किलें बढ़ी

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DIAL-100
फाइल फोटो — डायल—100 का निरीक्षण करते हुए डीजीपी वीके सिंह

सूचनाएं मिलने के बावजूद रिस्पांस टाइम में पिछड़ी एमपी पुलिस, अफसरों ने बैठक बुलाकर कंपनी बदलने पर सहमति जताई

भोपाल। मध्यप्रदेश पुलिस की महत्वपूर्ण सेवा डायल-1०० (DIAL- 100) पर गुरुवार सुबह से संकट आ गया। यह संकट रिलायंस कंपनी की वजह से आया है। जिसकी वजह से पुलिस की आंतरिक सूचना प्रणाली पर उसका असर आ गया। इस समस्या को लेकर बैठक भी आयोजित की गई। जिसके बाद कंपनी बदलने पर सहमति जताई गई।
कौन सा काम हुआ प्रभावित
जानकारी के अनुसार डायल-100 (DIAL- 100) की आंतरिक तकनीक पूरे इंटरनेट कनेक्शन पर निर्भर हैं। यहां कॉल रिसीव करने वाले ऑपरेटर संबंधित सूचना को रेंज के अनुसार इवेंट बनाकर बांटते हैं। इवेंट बनाने फिर उसे डिस्पैच करने का काम भी तुरंत होने लगता हैं। यह सारी प्रक्रिया डिजीटल रूप में इंटरनेट कनेक्शन से होती है। यह सभी प्रक्रिया गुरुवार से प्रभावित हो गई है। इस कारण मिल रही सूचनाएं डिजीटल की बजाय फोन लगाकर दी जा रही है। इसमें वक्त लगता है जिसकी वजह से गुरुवार को डायल-100 (DIAL- 100) का रिस्पांस टाइम घट गया।

यह लिया गया फैसला
डायल-100 (DIAL- 100) में आई इस समस्या की वास्तविक वजह का पहले पता लगाया गया। इससे पहले नेटवर्किंग सिस्टम बैठने की भ्रामक जानकारी फैल गई थी। जिसका पता लगाने के लिए तुरंत आईटी और पुलिस डिपार्टमेंट लग गया। इसमें मालूम हुआ कि इंटरनेट सर्विस के लिए रिलायंस कंपनी से जो सुविधा ली गई है उसके नेटवर्क में प्रॉब्लम हैं। इसे दुरूस्त करने का काम कंपनी ने शुरू कर दिया। लेकिन, वह जल्द ठीक हो इन अटकलों से पुलिस विभाग (MP POLICE) को इनकार कर दिया। नतीजतन, निर्णय लिया गया है कि जियो, एयरटेल, बीएसएनएल समेत दूसरी टेलीकॉम कंपनियों के नेटवर्किंग सिस्टम को लगाया जाए। इसके बजट और उसे मंजूर करने को लेकर कवायद शुरू कर दी गई है।

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कई राज्यों के लिए मिसाल
डायल-100 (DIAL- 100) की सेवा नवम्बर, 2015 में हुई थी। इसे शुरू करने वाले राज्यों में से मध्यप्रदेश (MP POLICE) का नाम सबसे आगे लिया जाता है। यहां के नेटवर्क और सर्विस को देखकर उत्तर प्रदेश, पंजाब, चंड़ीगढ़, महाराष्ट्र, केरल समेत दूसरे राज्यों ने इसे अपनाया। डायल-100 के पास प्रदेश में करीब एक हजार से अधिक आधुनिक संसाधनों से लैस वाहन हैं। इसके अलावा तीन सौ से अधिक डायल-100 बाइक हैं। यह वाहन चौबीस घंटे मदद और गश्त के लिए दौड़ते हैं।

क्या कहते हैं अफसर
डायल-100 (DIAL- 100) की कोई गड़बड़ी नहीं हैं। यह नेटवर्किंग सेवा प्रदाता कंपनी रिलायंस की तरफ से तकनीकी चूक हैं। हम दूसरे विकल्पों पर मंथन कर रहे हैं। सेवाएं जारी है बस डिजीटल की बजाय मैन्यूअल किया जा रहा है।
साकेत पांडे, एसएसपी रेडियो

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