पांच साल में चार बार गिरफ्तार हो चुका आरोपी, पुलिस की वर्दी समेत कई अन्य सामान जब्त, अदालत में पेश करके जेल भेजेगी पुलिस
सिंगरौली। क्राइम ब्रांच का एसपी बनकर वसूली करने वाले नकली पुलिस अफसर (Impersonator Police) को सिंगरौली पुलिस ने गिरफ्तार किया है। आरोपी एक व्यापारी को लूट के झूठे मामले में फंसाने की धमकी देकर वसूली करने पहुंचा था। आरोपी को मशक्कत के बाद हिरासत में ले लिया गया है। वह पांच साल में ऐसा करते हुए चौथी बार पुलिस के हत्थे चढ़ा है।
भनक लगते ही फरार
यह खुलासा करते हुए एसपी सिंगरौली दीपक शुक्ला ने बताया कि आरोपी भगवान पनिका पिता रामलाल उम्र 25 साल थाना जियावन का रहने वाला है। आरोपी 13 मई को बिलौंजी निवासी रामनरेश शाह के पास पहुंचा था। शाह व्यापारी है जिन्होंने बैढऩ थाने में जाकर मामले की शिकायत की। उन्होंने पुलिस को बताया कि जो व्यक्ति आया था उसकी नैम प्लेट पर सूरज धुर्वे लिखा था। सूरज को अहसास हो गया था कि वह फंस रहा है। इसलिए वह व्यापारी से रकम लेने की बजाय फरार हो गया। आरोपी को बरगंवा रेलवे स्टेशन पर पुलिस की मदद से हिरासत में लिया गया।
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कब-कब कहां पकड़ाया
एसपी ने बताया कि भगवान दास कभी सूरज धुर्वे तो कभी रामनरेश पटेल बनकर पुलिस वाला (Impersonator Police) बनता था। आरोपी का वास्तविक नाम भगवान दास है। भगवान इससे पहले 2015 में सतना जीआरपी में पकड़ाया था। वह वर्दी पहनकर मुफ्त की यात्रा कर रहा था। इसके बाद जबलपुर के आधारताल थाना पुलिस ने फर्जी पुलिस (Impersonator Police) बनने पर 2016 में गिरफ्तार किया था। नरसिंहपुर पुलिस ने 2017 में भगवान दास को फर्जी एसआई बनकर वसूली करने के मामले में गिरफ्तार किया था। उसके साथ एक महिला भी गिरफ्तार हुई थी। इस मामले में वह आठ महीने जेल में रहा जहां से छूटने के बाद वह सिंगरौली में वारदात करने पहुंचा था।
लड़कियां होती है इम्प्रेस
टीआई मनीष त्रिपाठी ने बताया कि आरोपी बेहद शातिर है। उससे कई अन्य मामलों में पूछताछ चल रही है। फिलहाल वह पुलिस को कहानियां सुनाने में लगा है। जिसमें से एक कहानी यह भी उसने बताई कि वह पहले होटलों में मजदूरी करता था। इस दौरान ही उसे अहसास हुआ था कि पुलिस से लोग ज्यादा पूछताछ नहीं करते। जो मांगते है वह मिल जाता है। यह सोचकर उसने वारदात करना शुरू किया। उसने बताया कि जब वह फर्जी पुलिस अधिकारी (Impersonator Police) बना तो लड़कियां उससे ज्यादा इम्प्रेस हो जाती थी।