Bhopal News: कोरोना संक्रमित प्रदेश के दो बड़े जिलों के बीच का यह मामला, दो थानों के बीच वॉलीबॉल बना एक आवेदन
भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल की ताजा न्यूज (Bhopal News) कोरोना के काम आने वाली दवा की है। इंदौर शहर से निकली यह दवा भोपाल आते—आते गायब हो गई। मध्य प्रदेश के यह दोनों शहर कोरोना संक्रमण से सबसे ज्यादा प्रभावित भी है। इस संबंध में शिकायत एक दवा कारोबारी ने भोपाल के थाने में की है। जिसमें पुलिस ने मुकदमा दर्ज करने की बजाय उसका आवेदन दूसरे जिले का बताकर फारवर्ड कर दिया है। जबकि कोरोना दवा की कालाबाजारी करने वालों के खिलाफ मध्य प्रदेश सरकार ने तमाम दावे किए हैं।
मेरे यहां का मामला नहीं
भोपाल के दवा बाजार में स्थित मेडिकेश फार्मा के संचालक नयन गुप्ता ने बताया कि उन्होंने फेबीफल्यू दवा इंदौर से बुलाई थी। यह दवा ब्लैम मार्क कंपनी बनाती है। जिसकी सप्लाई इंदौर के एसबी वेयर हाउस एंड लॉजिस्टिक (SB Ware House & Logitech) से होती है। गुप्ता के अनुसार दो अलग—अलग मिलीग्राम की दवा के उन्होंने ऑर्डर दिए थे। इंदौर से यह दवा मधुर कोरियर (Madhur Courier News) से बुक की गई थी। यह दवा सात कार्टन में थी। घोड़ानक्कास मधुर कोरियर पहुंचने पर उसे 7 कार्टन की बिल्टी दी गई। लेकिन, माल छह कार्टन का दिया गया। जिसके बाद उन्होंने थाने में शिकायत की। इधर, हनुमानगंज थाना प्रभारी महेन्द्र सिंह ठाकुर (TI Mahendra Singh Thakur) का कहना है कि घटना उनके इलाके की नहीं है। इसलिए डोडी क्षेत्र के संबंधित थाने को जांच के लिए भेज दिया गया है।
मेरे पास नहीं आया मामला
नयन गुप्ता (Nayan Gupta) ने बताया कि चोरी गई दवा कोरोना के इलाज में काम आती है। एक कार्टन में 60 स्ट्रीप होते हैं। एक कार्टन का माल करीब एक लाख 10 हजार रुपए का था। नयन गुप्ता को कोरियर कंपनी से बताया गया था कि थाने में एफआईआर दर्ज करा दी गई है। इधर, डोडी इलाके के जावर थाना प्रभारी मदन इवने (TI Madan Ivane) ने बताया कि उनके पास अब तक कोई शिकायत नहीं मिली है। उल्लेखनीय है कि भोपाल के हमीदिया अस्पताल के स्टोर रुम से चोरी 863 रेमडेसिविर इंजेक्शन चोरी का मामला आज भी पहेली बना हुआ है। अब यह ताजा मामला सरकार और सिस्टम की गंभीरता को उजागर करता है।