राजधानी को शर्मसार कर देने वाली घटना का चौबीस घंटे के भीतर पुलिस ने किया पर्दाफाश, पुलिस को गुमराह करने के लिए तलाशने में करता रहा था मदद
भोपाल। महिला हिंसा के मामले में प्रदेश बदनाम रहा है। मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कुर्सी संभालने के बाद भी यही बोला था कि महिला हिंसा लिखने पर सबसे पहले आने वाले प्रदेश के नाम को गुगल से हटाना है। लेकिन, सरकार की नीतियां इसमें कितनी खरी उतरी उसका खुलासा राजधानी में हुई एक घटना से पता चलता है। कोहेफिजा इलाके के मनुआभान टेकरी में एक किशोरी की बड़ी बेरहमी से हत्या कर दी गई है। पुलिस को उसकी लाश नग्न अवस्था में मिली थी। इस हत्याकांड को पुलिस ने चौबीस घंटे के भीतर में अब सुलझाने का दावा किया है। आरोपी बुआ से मिलने आया था लेकिन उसकी भतीजी को देखकर उसकी नीयत डोल गई। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया है।
राजधानी का मनुआभान टेकरी पर्यटकों के लिहाज से काफी महत्वपूर्ण माना जाता है। यहां से आधा शहर दिखाई देता है। इसमें जैन मंदिर भी बना है। यहां से प्रकृति को निहारने और उसके नजदीक जाने पर मिलने वाले आनंद के लिए अक्सर लोग प्लान बनाकर आते हैं। आस-पास खुबसूरत पहाड़ के साथ-साथ गुफाएं भी है। इनमें से ही एक गुफा के भीतर बुधवार सुबह पुलिस को 16 वर्षीय किशोरी की लाश मिली है। वह कक्षा आठवीं की छात्रा है। वह अपने रिश्तेदार बुआ के साथ यहां मंगलवार शाम 4 बजे आई थी। बुआ अपने पुरूष दोस्त के साथ थी। बुआ कुछ देर के लिए किशोरी को छोड़कर अलग हुई। इसके बाद उसका कोई सुराग नहीं मिला। मामला कोहेफिजा थाने भी पहुंचा लेकिन देर रात तक किशोरी पुलिस को नहीं मिल सकी थी। हालांकि परिजनों का दावा है कि पुलिस ने सर्चिंग में रूचि ही नहीं दिखाई। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। जिसके बाद मौत के वास्तविक कारणों का पता चल सकेगा। आरोपी ने ज्यादती की बात कबूल ली है। जिसके बाद पुलिस ने ज्यादती की धारा बढ़ा दी है।
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थाना प्रभारी ने कानून गिनाए
इस मामले में पुलिस की जांच और संवेदनशीलता की कलई पता चलती है। जब इस बारे में द क्राइम इन्फो ने कोहेफिजा थाना प्रभारी अमरेश बोहरे से चर्चा की तो वे कोई ठोस जानकारी नहीं दे सके। उन्होंने बालको के संरक्षण अधिकार के बने कानूनों का हवाला देकर कोई भी जानकारी देने से इनकार कर दिया। जब उनसे आरोपियों को लेकर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कुछ संदेही मिले हैं जिनसे पूछताछ की जा रही है। हालांकि सीएसपी शाहजहांनाबाद नागेन्द्र पटैरिया ने जवाब देते हुए कहा कि कानूनी लिहाज से पुलिस की जांच संतोषजनक हैं। पीडि़त परिवार घटना को लेकर आवेश में हैं लेकिन, उन्हें भरोसा दिलाता हूं कि जल्द आरोपी हवालात के पीछे होंगे और उन्हें कठोर सजा भी मिलेगी।
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यह किया खुलासा
सीएसपी नागेन्द्र पटैरिया ने बताया कि आरोपी अविनाश साहू हैं। उसके पिता की मौत हो चुकी है। मां प्रायवेट नौकरी करती है। अविनाश मनुआभान की टेकरी में मृत बच्ची की चचेरी बुआ से मिलने आया था। इस मुलाकात के दौरान उसकी नीयत भतीजी को लेकर खराब हो गई। वह उसे टेकरी के नीचे पहाड़ पर ले गया। यहां उसने उसके साथ ज्यादती की। आरोपी ने पूछताछ में बताया कि उसने कहा था कि वह यह बात सबको बता देगी। इस कारण राज छुपाने के लिए उसकी पत्थर से सिर कुचलकर हत्या कर दी। इसके बाद शव को पहाड़ से नीचे फेंक दिया।
ऐसे किया गुमराह
घटना के बाद चचेरी बुआ और अविनाश थाने पहुंचे। अविनाश सर्चिंग के दौरान पुलिस की मदद भी करता रहा। अविनाश को ही सबसे पहले बच्ची का जूता दिखाई दिया था। उसने बताया कि वह हत्या को हादसे में बदलना चाहता था। इसलिए उसने शव को पहाड़ के नीचे फेंक दिया था। पुलिस आरोपी को आज अदालत में पेश करेगी। पुलिस इस मामले को फास्ट ट्रैक कोर्ट में पेश करने की योजना पर भी काम कर रही है।
यह याद है तो आता है आवेश
राजधानी में नाबालिग के साथ हुआ यह मामला पहला नहीं हैं। इससे पहले तत्कालीन गृहमंत्री उमाशंकर गुप्ता के बंगले के सामने एक मासूम की ज्यादती के बाद हत्या करके लाश फेंक दी गई थी। इसी तरह हबीबगंज आरपीएफ थाने के नजदीक पांच आरोपियों ने यूपीएससी की तैयारी कर रही छात्रा से गैंगरेप किया था। इन मामलों में आरोपियों को पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है। लेकिन, इन घटनाओं से शहर में आवेश था। यह आवेश लोगों ने कैंडल मार्च निकालकर भी जताया था।
कैंडिल मार्च निकाला
घटना को लेकर लोगों में काफी आक्रोश है। घटना के विरोध में ग्रामीणों ने कैंडल मार्च भी निकाला। इस मार्च में कई नाबालिग लड़कियां थी जो वी वांट जस्टिस लिखकर नारे लगा रही थी। लोगों की मांग थी कि आरोपी को फांसी की सजा मिले। हालांकि इस प्रदर्शन के दौरान बच्ची के फोटो लगाकर पोस्टर बनाए गए थे। जो नियम विरूद्ध हैं। इससे पहले भाजपा से प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा भारती ने भी विश्राम घाट में जाकर परिवार से मुलाकात की थी।