Bhopal News: कार नंबर का पीछा करके हकीकत सामने आई तो पता चला पुलिस के पास वह मसला छह साल से कई बार सामने आया, वोट काउंटिंग डे पर चलीं गोलियां का सस्पेंस समाप्त, शहर में फैलने लगी अफवाह तो मीडिया के सामने यह बोलकर आए डीसीपी
भोपाल। एमपी समेत चार राज्यों में हुए मतदान के बाद काउंटिंग 03 दिसंबर को हुई। उसी दिन अलग—अलग पार्टियों के विजयी उम्मीदवार जुलूस निकाल रहे थे। तभी टेंट हाउस कारोबारी को गोलियां बरसा दी गई। यह घटना भोपाल (Bhopal News) शहर के तलैया इलाके में हुई थी। बीच शहर में हुई इस घटना के बाद लॉरेंस विश्नोई गैंग का नाम सामने आ गया। जिस कारण मुद्दे ने तूल पकड़ लिया। अब दो दिन बाद पुलिस इस मामले को लेकर मैन स्ट्रीम मीडिया के सामने आई। उसने साफ कर दिया कि इस शूटआउट के तार दुबई या फिर विश्नोई गिरोह से नहीं जुड़े हैं। इसके अलावा वारदात में शामिल तीन लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया है। जबकि तीन अन्य व्यक्तियों की तलाश की जा रही है। गोली मारने वालों में दो आदतन बदमाश हैं। जिन्हें सुपारी देकर हायर किया गया है या नहीं यह साफ नहीं हो सका है। लेकिन, यह बात उजागर हो गई है कि पुलिस को विवाद की वजह पिछले पांच साल से पता थी। जिसका समय पर समाधान किया होता तो उसके लिए यह नासूर नहीं बनता।
इस बात को लेकर चल रहा था विवाद
भोपाल जोन—3 के डीसीपी रियाज इकबाल ने तलैया (Tallaiya) इलाके में हुई घटना को लेकर मंगलवार शाम पत्रकारों को संबोधित किया। उन्होंने बताया कि 03 दिसंबर की सुबह लगभग पौने ग्यारह बजे गोली मारी गई थी। हमले में नवाज रियाज (Nawaz Riyaz) पिता मोहम्मद रियाज जख्मी हुआ था। वह कोतवाली थाना क्षेत्र के सुल्तानिया रोड स्थित वाहिद मेंशन में रहता है। उसका टेंट हाउस (Tent House) का कारोबार है। जख्मी नवाज रियाज का चिरायु अस्पताल (Chirayu Hospital) में इलाज चल रहा है। वारदात के बाद पुलिस ने जख्मी नवाज रियाज के भाई फराज रियाज (Faraz Riyaz) की शिकायत पर 03 दिसंबर को प्रकरण 393/23 धारा 294/323/506/307/34 (गाली गलौज, मारपीट, धमकाना, जानलेवा हमला और एक से अधिक आरोपी का मुकदमा) दर्ज किया है। मामले में तहकीकात करते वक्त पुलिस को सीसीटीवी फुटैज की मदद से सेंट्रो कार एमपी—04—एचए—9287 का पता चला था। उसकी जानकारी जुटाई गई तो वह मोहम्मद शब्बीर (Mohammed Shabbir) के नाम पर निकली। वे जहांगीराबाद स्थित जिंसी की बैंक कॉलोनी में रहते हैं। उन्होंने बताया कि कार उनका बेटा आहद नूर (Aahad Noor) ले गया था। उसे पुलिस ने अपने प्रयासों से गौतम नगर इलाके से दबोचा। उसने प्राथमिक पूछताछ में वारदात में शामिल होने का खुलासा किया। विवाद की वजह संपत्ति के मालिकाना हक को लेकर उसने बताया।
तीन आरोपियों की तलाश अभी भी जारी
डीसीपी ने बताया पूछताछ में 30 वर्षीय आहद नूर ने बताया कि उसके साथ कासिफ उर्फ समीर उद्दीन पिता वमीम फारुकी उम्र 30 साल भी शामिल था। समीर उद्दीन (Sameer Uddin) कोतवाली स्थित पठारवाली गली नूरमहल रोड पर रहता है। इसी तरह दूसरा आरोपी जमील खान (Zamil Khan) पिता खलील खान उम्र 31 साल था। वह गौतम नगर थाना क्षेत्र के नगर निगम कॉलोनी के पास रहता है। तीसरा आरोपी बुधवारा (Bhopal News) में ओल्ड एमएलबी कॉलेज के पास रहने वाला आमिर उर्फ बर्फ पिता प्यारे मियां उम्र 34 साल है। आहद नूर ने बताया कि चौथा आराोपी फैजान उर्फ काला पिता रमजान उम्र 25 साल है। वह भी गौतम नगर में रहता है। जबकि पांचवा आरोपी नसीम पिता बन्ने खां है जो कि निशातपुरा के करोंद स्थित हाउंसिंग बोर्ड कॉलोनी में रहता है। डीसीपी ने बताया कि वारदात में शामिल तीन आरोपियों आहद नूर, कासिफ उर्फ समीर उद्दीन और जमील खान को गिरफ्तार कर लिया गया है। जबकि तीन अन्य आरोपियों आमिर उर्फ बर्फ, फैजान उर्फ काला और नसीम खां अभी फरार है। पुलिस की पकड़ से फरार आरोपियों पर 10—10 हजार रुपए का रिवॉर्ड रखा गया है। आमिर उर्फ बर्फ पर 2010 में हत्या का एक मुकदमा भी दर्ज है। वारदात वाले दिन पांच लोग घटनास्थल पर थे। जिसमें एक वीडियो में जमील दिख भी रहा है। तीन आरोपियों ने दुकान के भीतर घुसकर वारदात की थी। जिनके नाम सामने आए हैं उनमें से चार आदतन बदमाश है। इसमें फैजान कुछ दिन पहले ही जेल से छूटा है।
यह बोल रही है पुलिस
पुलिस को जांच में पता चला है कि आमिर उर्फ बर्फ का दावा है कि वह नवाज रियाज की दुकान का सौदा पहले कर चुका है। जिससे यह लेन—देन हुआ उसका निधन हो गया था। इसके बाद उस दुकान पर नवाज रियाज ने टेंट की दुकान खोल ली। इसी दुकान को आरोपी खाली कराना चाहते थे। यह दोनों पक्ष इससे पहले कई बार आमने—सामने हो चुका है। जिसमें पुलिस (Bhopal News) ने सक्रियता नहीं दिखाई थी। हमले से पहले नवाज रियाज के परिवार को व्हाट्स एप पर आडियो मैसेज भी भेजा गया था। जिसमें एक करोड़ रुपए मांगे जा रहे थे। हमले के पीछे दुबई कनेक्शन और लॉरेंस विश्नोई गैंग ( Lawrence Vishnoi Gang l) का नाम सामने आया था। डीसीपी रियाज इकबाल (DCP Riyaz Iqbal) का दावा है कि यह आडियो पुलिस को गुमराह करने के लिए नसीम ने बनाया था। उसकी एक मामले में पुलिस को तलाश थी। जिसके लिए वारंट भी जारी हुआ था। सभी आरोपी नशे के आदी है। पुलिस ने जमील से चाकू बरामद किया है जो हमले में इस्तेमाल हुआ था। डीसीपी ने बताया कि फरार चल रहा आमिर उर्फ बर्फ काफी शातिर है। उसने इस वारदात में शामिल होने से बचाव के लिए मतगणना स्थल के आस—पास अपना मूवमेंट दिखाया। लेकिन, वह अपने इस चक्रव्यूह में बुरी तरह फंस चुका है। उसकी गिरफ्तारी के बाद सुपारी देकर हमला कराने अथवा नहीं कराने की बात साफ हो सकेगी।
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