Covid Pandemic White Paper: कोरोना महामारी पर कांग्रेस लाएगी श्वेत पत्र, चार बिंदुओं को लागू करने सरकार से मांग
दिल्ली। कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी (Covid Pandemic White Paper) ने देश की प्रमुख मीडिया ग्रुप से मंगलवार सुबह जुम मीटिंग के जरिए पत्रकार वार्ता को संबोधित किया। उन्होंने पत्रकारों के कई सवालों के जवाब भी दिए। उन्होंने कहा कि देश तीसरी लहर के लिए अभी तैयार नहीं है। राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (PM Narendra Modi) देशभर के विषय विशेषज्ञों की राय को लंबे अरसे से नजर अंदाज करते चले आ रहे हैं। राजनीतिक विचारधारा से हटकर देश के हर नागरिकों की सुरक्षा का अहसास दिलाने का वक्त है। लेकिन, प्रधानमंत्री केवल मार्केटिंग मैनेजमेंट पर लगे हुए हैं।
लोगों को आर्थिक सहायता दे सरकार
राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने बताया कि कांग्रेस श्वेत पत्र लाकर चार मांग सरकार के सामने रखने जा रही है। इसमेें पहली मांग तीसरी लहर के लिए देशभर में ऑक्सीजन, अस्पताल, दवाईयों के प्रबंधन करने की रणनीति को लेकर है। दूसरी मांग पर उन्होंने कहा कि कोविड महामारी केवल बॉयोलाजिकल नहीं है। यह गरीब, कमजोर व्यापारियों के लिए आर्थिक नुकसान पहुंचाने वाली भी है। इसलिए ऐसे परिवार को आर्थिक सहायता देने की स्कीम को लागू करना चाहिए। ताकि जनता को अहसास हो कि वे अकेले नहीं है। देश उनके साथ आपदा के वक्त साथ में खड़ा है। इसके अलावा उन्होंने कोविड फंड बनाने की मांग की है। जिसमें कोविड से प्रभावित परिवारों को सहायता मुहैया कराई जा सके।
यह भी पढ़ें: नेहरु को कोसते—कोसते सांस उखड़ आती थी, आज उन्हीं की विरासत से बच रही है नाक
सही समय पर ऑक्सीजन नहीं मिला
यूपी, बिहार मेें कोविड से मृत्यु के प्रमाण पत्र जारी नहीं करने के सवाल पर उन्होंने कहा कि सरकार सच्चाई को छुपाना चाहती है। वह मौत का आंकड़ा नहीं बताना चाह रही। हम कितने लोग मरे उस पर नहीं जाना चाहते। लेकिन, नंबरों के आधार पर चर्चा और योजना पर बातचीत होना चाहिए। वायरस काफी चतुर है और वह अपना म्यूटंट बदल रहा है। भारत में दूसरी लहर में आक्सीजन की कमी को हेंडल कर लिया गया यह बात पीएम ने बोली थी। जिस पर उन्होंने कहा कि दो तरह की मौत हुई। एक संसाधनों की कमी से मौत और दूसरी मौत वयोवृद्ध की हुई है। लेकिन, हिंदुस्तान में अधिकांश लोगों की मौत संसाधनों की कमी की वजह से हुई है। इसकी वजह ऑक्सीजन सही समय पर न देना बहुत बड़ा कारण है।
पीएम के आंसू काम नहीं आएंगे
राहुल गांधी ने एक सवाल के जवाब में कहा कि पीएम के आंसू उन परिवारों के आंसू को नहीं मिटा पाएंगे। जिसके घर से व्यक्ति गया है वहां पीएम नहीं थे। उनके आंसू ने नहीं बचाया। लेकिन, ऑक्सीजन बचा सकता था। पीएम ने इस बात को संजीदगी से नहीं लिया। महावैक्सीनेशन के बाद पीठ थपथपा रही है। लेकिन, इसमें भाजपा प्रचार कर रही है। इस सवाल के जवाब पर राहुल गांधी ने कहा कि हिंदुस्तान ही एकमात्र देश है जहां भुगतान करके वैक्सीनेशन किया जा रहा था। गांधी ने कहा कि पीएम ने पहली लहर में भी मार्केटिंग कर रहे थे। थाली, घंटी और मोबाइल की बत्ती जलाकर ऐसा कर रहे थे। जिसके नतीजे दूसरी लहर में पूरे हिंदुस्तान ने देख लिया। यह काफी संवेदनशील मामला है। हमें किसी भी गंभीर विषय पर पहले से घोषणा कर देने का अभी समय नहीं है।
पेट्रोल—डीजल से कमाई कर रही सरकार
राहुल गांधी ने कहा कि कोविड (Covid Pandemic White Paper) देश को काफी नुकसान पहुंचाने वाला है। दो वैक्सीनेशन में समय के अंतराल पर राहुल गांधी ने कहा कि वैक्सीनेशन का मैं एक्सपर्ट नहीं हूं। मैं एक साल से कोविड के लिए नहीं बोल रहा हूं। मैंने विशेषज्ञों की सलाह पर आवाज उनकी तरफ से उठाई है। सरकार उनकी नहीं सुनती है। वैक्सीनेशन की कमी से उसकी दिनों को घटाया—बढ़ाया जा सकता है। लेकिन, पीएम को समझना चाहिए कि यह राजनीतिक लड़ाई नहीं है। इसके लिए पूरा हिंदुस्तान उनके साथ खड़ा है। आपदा प्रबंधन में पीड़ितों को मुआवजा नहीं देने की बात पर उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने चार लाख करोड़ रुपए पेट्रोल—डीजल पर कर लेकर जमा कर चुकी है। इसके बावजूद मुआवजा नहीं देना यह सरकार की नाकामी है।
दुष्प्रचार को रोकने में नाकाम
किसी परिवार के कमाने वाले मुखिया का निधन हो चुका है तो उसे राहत पहुंचाने का समय है। राहुल गांधी ने वैक्सीन को लेकर दुष्प्रचार पर बोला कि सरकार सही तरीके से सूचनाओं का प्रसार करें तो इस भ्रम से निपटा जा सकता है। देश के नागारिकों को शामिल करके इसको सरल बनाया जा सकता है। राहुल गांधी ने लगभग 50 मिनट संबोधित किया। कांग्रेस पार्टी की तरफ से कोविड की दूसरी लहर में हुए कुप्रबंधन की भी एक रिपोर्ट बनाई गई है। इस रिपोर्ट को भी राहुल गांधी ने सार्वजनिक किया।