बांग्लादेश से पश्चिम बंगाल के नवादा पहुंचती हैं खेप, देशभर में खपाते है तस्कर
नई दिल्ली। नोटबंदी के प्रधानमंत्री ने दावा किया था कि इस कदम से नकली नोट (Fake Currency) की समस्या खत्म हो जाएगी। नकली नोट छापने वालों की कमर टूट जाएगी। लेकिन उसके तुरंत बाेंद ही कश्मीर में मारे गए आतंकियों से नकली नोट (Fake Currency) बरामद हो गए थे। तब से लेकर आज तक 2 हजार रुपए के नकली नोट छापने और खपाने का सिलसिला खत्म नहीं हुआ हैं। पाकिस्तान और बांग्लादेश से नकली नोट भारत आ रहे हैं और बड़ी मात्रा में इन्हें बाजार में खपाया जा रहा हैं।
ताजा मामला नई दिल्ली से सामने आया हैं। जहां पुलिस ने नकली नोटों की तस्करी करने वाले युवक-युवती को गिरफ्तार किया हैं। खास बात ये है कि दोनों पश्चिम बंगाल के रहने वाले हैं और बांग्लादेश के रास्ते उन्हें नकली नोटों (Fake Currency) की खेप मिलती थी। जिन्हें वो बाजार में खपा देते थे। पुलिस ने 32 वर्षीय युवती शिक्षा से ढ़ाई लाख और 28 वर्षीय मंडल नाम के युवक से डेढ़ लाख रुपए के नकली नोट बरामद किए हैं। सभी नोट 2-2 हजार रुपए के हैं।
डिप्टी कमिश्नर संजीव कुमार यादव ने बताया कि उन्हें तस्करों की सूचना मिली थी। जिस पर कार्रवाई करते हुए दोनों को हैदरपुर बदली मोर मेट्रो स्टेशन से गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने सुबह 8.30 बजे तस्करों को गिरफ्तार किया।
पुलिस पूछताछ में मंडल ने बताया कि वो नकली नोट (Fake Currency) की तस्करी के धंधे से 2018 से जुड़ा हैं। उसी ने बताया कि बांग्लादेश से नकली नोट आते हैं। जिन्हें भारत के बाजार में खपाया जाता हैं। नकली नोटों की खेप बांग्लादेश से पश्चिम बंगाल के मालदा जिले के कालीचक इलाके में पहुंचती हैं। वहीं से इसे तस्करों के हाथों पूरे भारत में फैलाया जाता हैं। पुलिस ने बताया कि मंडल दिल्ली, उत्तर प्रदेश और हरियाणा में नकली नोटों की कई खेप डिलिवर कर चुका हैं। वहीं पकड़ी गई युवती करीब तीन साल से इस धंधे से जुड़ी हैं।
नकली नोटों के साथ पकड़े गए तस्करों ने दिल्ली पुलिस को अहम जानकारी दी हैं। उम्मीद जताई जा रहीं है कि पुलिस पश्चिम बंगाल में भी दबिश देगी।