CCD Founder Suicide : जानिए 50 हजार लोगों को नौकरी देने वाले वीजी सिद्धार्थ की जुबानी उनकी कहानी

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क्या कर्जदाताओं और इनकम टैक्स के दवाब में उद्योगपति ने दे दी जान ?

सीसीडी के फाउंडर वीजी सिद्धार्थ

बेंगलुरु। कैफे कॉफी डे यानि सीसीडी के मालिक (CCD Founder) वीजी सिद्धार्थ (VG Siddhartha) का शव बुधवार सुबह 6 बजे नेत्रावती नदी के पुल के नीचे से बरामद कर लिया गया है। सिद्धार्थ मंगलवार से लापता थे। 36 घंटे बाद उनका शव बरामद किया हुआ है।मंगलुरु के पुलिस कमिश्नर संदीप पाटिल ने कहा कि सिद्धार्थ का शव बुधवार सुबह छह बजे के आसपास हुइगेबाज़ार के पास बरामद हुआ है। पाटिल ने कहा कि शव हुइगेबाज़ार के पास सुबह तैरता हुआ दिखा था जिसे मछुआरों ने तट पर लाया।

सिद्धार्थ (VG Siddhartha) सोमवार शाम सात बजे से ग़ायब थे। उन्होंने अपने ड्राइवर से नदी के पुल पर गाड़ी रोकने को कहा था। ड्राइवर से उन्होंने कहा था कि वो पुल पर दूर तक टहलना चाहते हैं। आधे घंटे बाद भी जब वो पार्क की गई कार के पास नहीं आए तो उन्हें फ़ोन किया गया लेकिन कोई जवाब नहीं मिला। इसके बाद से बेंगलुरु में परिवार वाले हरकत में आए। उनकी खोज में पुलिस के साथ कोस्टगार्ड के अधिकारी भी लगाए गए थे।

अग्रेजी में लिखा गया सुसाइड नोट

अब बड़ा सवाल ये हैं कि 50 हजार लोगों को नौकरी देने वाले सीसीडी के मालिक वीजी सिद्धार्थ ने आखिर ये आत्मघाती कदम (Suicide) क्यों उठा लिया। पुलिस ने एक सुसाइड नोट (Suicide Note) बरामद किया हैं। दावा है कि सुसाइड करने से पहले वीजी सिद्धार्थ ने ये सुसाइड नोट लिखा था। आइए पढ़ते है आखिर क्या वजह थी आत्महत्या की।

सिद्धार्थ ने अपने सुसाइड नोट में जो लिखा है, उसका मजमून यह हैं-

 ” 37 साल तक पूर्ण समर्पण और जी तोड़ मेहनत के जरिए हमने अपनी कंपनियों और उनकी सहयोगी इकाइयों में को सीधे तौर पर 30 हजार लोगों को नौकरियां दी। साथ ही साथ 20 हजार नौकरियां तकनीकि कंपनी में दी जिसकी स्थापना से ही में एक बड़ा शेयर होल्डर था। लेकिन अपने पूरे प्रयासों के बावजूद मैं एक लाभदायक बिजनेस मॉडल खड़ा करने में असफल रहा।”

”मैं कहना चाहता हूं कि मैंने इसके लिए हरसंभव कोशिश की, मैं उन सभी लोगों से माफी चाहता हूं जिन्होंने मुझ पर भरोसा किया और मुझमे अपनी आस्था जताई। मैं लंबे समय तक लड़ता रहा, लेकिन मैं आज अपनी हार मानता हूं। मैं अब और ज्यादा दवाब सहन नहीं कर सकता। जबकि प्रायवेट इक्विटी पार्टनर मुझ पर शेयर बेचने का दवाब डाल रहे है। हालांकि मैंने अपने एक दोस्त से काफी पैसा उधार लेकर एक बड़ी रकम 6 महीने पहले जमा की है। अन्य तरह के चौतरफा दवाबों के चलते मैं इन हालात में खुदकों बुरी तरह फंसा महसूस कर रहा हूं।

”इनकम टैक्स के पूर्व डीजी की और से भी मैंने काफी उत्पीड़न सहा है। इस दौरान हमारे शेयर्स को दो बार अटैच किया गया और कुछ जरूरी डील्स को भी रोका गया। हालांकि हमने संशोधित रिटर्न भी फाइल कर दिया था। इसके बावजूद लगातार परेशान किया जाता रहा। इस कारण से नगदी का भी गहरा संकट उत्पन्न हो गया।”

मैं आप सभी से गुजारिश करता हूं कि आप मजबूत बने रहे और नए प्रबंधन के साथ व्यवसाय को आगे बढ़ाना जारी रखे। सभी गलतियों के लिए मैं अकेला जिम्मेदार हूं। सभी वित्तीय लेनदेन मेरी जिम्मेदारी हैं। मेरी टीम, ऑडिटर और वित्तीय प्रबंधकों को मेरे द्वारा किए गए लेन-देन की कोई जानकारी नहीं है।

कानून को सिर्फ और सिर्फ मुझे जिम्मेदार मानना चाहिए। क्यो कि मैंने यह सारी जानकारी सभी से, यहां तक कि मेरे परिजनों को भी नहीं बताई। मेरा इरादा किसी को धोखा देने या किसी को गलत जानकारी देने का नहीं था। मैं एक उद्यमी के तौर पर असफल रहा हूं। यह मेरा विनम्र अनुरोध हैं, और मैं उम्मीद करता हूं कि एक दिन आप सभी मुझे समझेंगे और मुझे माफ कर देंगे।

मैं इस पत्र के साथ एक लिस्ट अपनी सभी संपत्तियों और उनके संभावित मूल्य की सूचि अटैच कर रहा हूं। नीचे लिखी सभी संपत्ति हमारी सारी देन-दारियों को पूरा करने में सक्षम हैं और सभी भुगतान करने में मदद करेगी।

  

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